सच कहें तो ये खबर जितनी बड़ी दिख रही है, असल में उतनी ही झटका बनकर आई है।
क्या है ? पूरी खबर आइए जानते है….
UP में LT Grade और प्रवक्ता भर्ती आई, लेकिन जिनके लिए थी, वो ही बाहर हो गए!
6 साल तक इंतज़ार, और अब जब यूपी सरकार ने एलान किया कि भर्ती होने जा रही है — तो हजारों छात्रों को एक ही लाइन में कह दिया गया: “अब आप आयु सीमा से बाहर हो चुके हैं।”
“हमने तो वक़्त दिया था, अब उम्र निकल गई… जिम्मेदार कौन है?”
- भर्ती 2018 के बाद से अटकी रही। कोई विज्ञापन नहीं, कोई
परीक्षा नहीं। 2019 से लेकर 2024 तक हर साल उम्मीदवार यह सोचते रहे कि अब आएगा नोटिफिकेशन… मगर नहीं आया।
अब जब 2025 में सरकार ने आंख खोली, तो बोला — “21 से 40 साल वालों के लिए है यह भर्ती।”
और जो अब 41 पार कर चुके हैं?
जो 6 साल से तैयारी करते रहे — बस उम्र के कारण बाहर कर दिए गए।
2025 में प्रस्तावित GIC/GGIC (राजकीय माध्यमिक विद्यालय) में LT Grade और प्रवक्ता पदों की भर्ती में आयु सीमा का निर्धारण।
महत्वपूर्ण बिंदु :
- UP LT Grade शिक्षक के 7466 पद, विज्ञापन 28 जुलाई 2025 को जारी होगा ।
- प्रवक्ता पदों के लिए 1500+ पद, लेकिन इस बार B.Ed. अनिवार्य रखा गया है।
- जिन अभ्यार्थियों ने केवल M.A./M.Sc. किया है और B.Ed. नहीं किया है अब उन्हें मौका नहीं दिया जाएगा।
- हज़ारों उम्मीदवार आयु सीमा से बाहर हो रहे है और आयु सीमा में कोई छूट नहीं दी जा रही है।
छात्र संगठनों की मांग: कम से कम 4 साल की छूट दी जानी चाहिए।
“हम तो फंसे रह गए सिस्टम के बीच”
छात्र नेताओं कहना है कि –
अनिता तिवारी, जो 2019 से तैयारी कर रही थीं, कहती हैं ।
“पोस्टग्रेजुएट हूं, B.Ed. नहीं किया, क्योंकि पहले ज़रूरत नहीं थी। अब नियम बदल गए, और मैं बाहर हो गई।”
राजीव सिंह, आजमगढ़ से, बोले –
“2020 में परीक्षा की उम्मीद थी, लेकिन कुछ हुआ ही नहीं। अब उम्र पार हो गई तो कह रहे हैं ‘अयोग्य’ हो।”
शीलतला ओझा, जो लंबे समय से अभ्यर्थियों की आवाज़ उठा रहे हैं, कहते हैं:
“सरकारी लेटलतीफी का खामियाजा छात्रों को क्यों भुगतना पड़े? भर्ती की देरी आयोग की थी, तो आयु सीमा में छूट देना भी उन्हीं की ज़िम्मेदारी है।”
निष्कर्ष
भले ही भर्ती प्रक्रिया फिर शुरू हो रही है, लेकिन वो लाखों युवाओं के लिए अब कोई मायने नहीं रखती, जो अपनी उम्र पार कर चुके हैं।
अब निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि क्या सरकार और आयोग संवेदनशीलता दिखाएंगे हैं, या फिर यह मौ
का भी उन अभ्यर्थियों के हाथ से निकल जाएगा।